"संघर्ष "
एक काबिल की नगरों में |
दुनिया में कुछ नहीं है कठिन,
प्रयास का छाया है उसपर |
एक बार चूकने से नहीं होता निराश,
प्रयास करते- करते हारता है कईबार|
काबिल बनने से उसे कोई नहीं,
कर सकता पीछा हरबार |
एक काबिल की नगरों में ,
दुनिया में कुछ नहीं है कठिन|
कवि :सुल्तान ,कक्षा :9th
अपना घर
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