"यादों की गहराईयों में जिया करते हैं"
यादों की गहराईयों में जिया करते हैं।
बीते हुए दिनों का मजा लिया करते हैं।।
कुछ खुशी से भरी तो कुछ तीखी सी हैं।
युहीं यादों की गहराईयों में जिया करते हैं।।
वक्त के आधार पर ख्याबो को बुना करते हैं।
ख्वाबों की जाल बना कर हम जिया करते हैं।।
चंद शब्दों का पुल बनाकर।
हम विश्वास जीत लिया करते हैं।।
युहीं नहीं हम किसी के दिलों पर राज किया करते है।
रब की हिफाजत से।।
उचाईओं को छू लिया करते है।
हिम्मत को काम न समझो दोस्तों।।
हम तो आसमान को भी झुका दिया करते हैं।
हमारा हिम्मत ही हमारी जागीर है।।
हमारा विश्वास ही हमारी दौलत है।
यादें ही हमारी तस्वीर हैं।
यादों की गहराईयों में ही जिया करते हैं।
बीते हुये दिनों का भी मजा लिया करतें हैं।।
कविः - राज कुमार ,कक्षा - 11th , अपना घर ,कानपुर ,
कवि परिचय
: यह हैं राज कुमार जो की कक्षा - 11th के विद्यार्थी हैं।
2013 से यहाँ रहकर अपनी पढ़ाई कर रहे हैं। वैसे तो यह हमीरपुर के निवासी है
। पढ़ाई में तो अच्छे हैं ही और कवितायेँ भी अच्छी लिखते हैं।