गुरुवार, 12 नवंबर 2020

कविता :- वो दिन आज याद आते है

"वो दिन आज याद आते है"
वो दिन आज याद आते है।
जब हम साथ पढ़ा करते थे।।
जब हम साथ में खेला करते थे।
वो दिन आज याद आते है।।
जब हम एक दूसरे से लड़ा करते थे।
दोस्तों में भी क्या बात होती थी।।
मौज मस्ती दिन - रात होती थी।
रोने  और रुलाने वाले और कोई नहीं होते थे।।
सबके पीछे अपना यार होते थे।
 वो दिन आज याद आते है।।
कविः -शनि कुमार, कक्षा -9th ,अपना घर, कानपुर,
कवि परिचय :- ये शनि कुमार है। जो बिहार के रहने वाले है। इस समय अपना घर हॉस्टल में रहकर शिक्षा प्राप्त कर रहे है।  ये पढ़ने में बहुत अच्छे है।ये पढ़ लिखकर अपने परिवार और समाज के लिए काम करना चाहते है। इनको कविता लिखना पसन्द है।

3 टिप्‍पणियां:

डॉ. रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक' ने कहा…

बहुत सार्थक।
धनतेरस की हार्दिक शुभकामनाएँ आपको।

BAL SAJAG ने कहा…

Dr. rupchandra shastri ji dhanyvad

BAL SAJAG ने कहा…

Dr.rupchandra shastri ji dhanyvad