बुधवार, 13 अक्तूबर 2010

कविता क्या होगा उनका

क्या होगा उनका
बाढ़ के प्रभाव से ,
संसार के हर गाँव में ....
लोग हुये परेशान,
डूब गये उनके घर द्वार....
उसमे से कुछ डूब गये
उन्ही में कुछ बचे....
जो बचे वो हो गये बेघर,
जो बचे तो घूम रहे....
उनको लोग देख रहे,
जहाजो से कुछ खाने को पंहुचा रहे ....
वे पैकटो को ऊपर से लोक रहे,
लोकने में कुछ कुचल गये
कुचल कर वही मार गये
क्या होगा उनका.....
क्या मिलेगा उन्हें मुआवजा .....
लेख़क अशोक कुमार कक्षा अपना घर कानपुर

1 टिप्पणी:

Udan Tashtari ने कहा…

गंभीर विचार किया है..