बुधवार, 27 जून 2012

शीर्षक :- पेड़

 शीर्षक :- पेड़ 
पेड़ हम अब लगायेगें....  
गर्मी को दूर भगायेगें, 
मानसून हम लायेगें....
पानी ये पेड़ लायेगें,
गर्मी से बेहाल इस मौसम....
को अब सुहावना बनायेगें,
बहुत ही तेजी से ये प्रथ्वी हो रही है गरम....
सूरज भी क्यों हो गया इतना बेरहम,

सूरज की इस बेरहमी का....
कारण है ये मनुष्य,
जिसने लिखा अपने हाथ से....
गर्मी के दिनों से भरा भविष्य,
इस समय ये मनुष्य....
ईधन का कर रहे उपयोग,
पंखा और कूलर वाले....
घर मन में बैठे कर रहे योग,
इतनी तेज की इस गर्मी से....
गरीबों को अब छुटकारा दिलाओ,
पसीने और लू से भरे जीवन में....
बसंत ऋतु का आगमन कराओ,
गर्मी बादलों के द्वारा अब....
ये भी कहा जा रहा है,
क्यों इस हरी भरी धरती को....
मानव तू सुखा रहा है, 


गरीबो में भी अब तुम....
अच्छा जीवन पाओगे,
पेड़ तो हम लगायेगें । क्या ?....
तुम भी पेड़ लगाओगे,







कवि : सोनू कुमार 
कक्षा : 11
अपना घर  

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