"माँ की ममता"
आज भी याद आती है मुझे,
वो मेरी माँ का ममता।
जब भी मैं डरता था ,
तो वो मुझे साहस दिलाती थी ,
माँ आज तेरी बहुत याद आती है।
दूर रह के भी पास रहती हो ,
बार - बार मेरे सपनो में तू ही आती है।
वैसे तो रोज तेरी याद सताती है ,
तेरी ही हर पल याद आती है ,
माँ तेरी कमी का ही अहसास होता है।
दिल ये मेरा अभी बच्चा है तेरी याद में बार बार रोता ,
माँ तेरी बहुत याद आती है।
कवि: नीरु कुमार, कक्षा: 9th,
अपना घर।
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