" काश बारिश हो "
आशा है मुझे , बारिश होगी,
आशा है मुझे , कुछ नया होगा |
देखने में लगता है कुछ खास,
ये बादल रुक जाए काश |
जहाँ भी जाऊँ बादल हो साथ,
मेरे चारों तरफ हो जाए बरसात |
बारिश की बूंदों को मैं देखूँ,
बारिश को मैं महसूस करूँ |
उछल कूदकर खूब नहाऊँ,
इतना पानी हो की मैं डूब जाऊँ |
काश बारिश यहीं पर हो,
खुदा से यही दुआ मनाऊँ |
कवि परिचय : यह हैं नितीश जो की बिहार के रहने वाले हैं | नितीश को टेक्नोलॉजी में बहुत रूचि है | नितीश कवितायेँ लिखने में माहिर है | नितीश बड़े होकर अपने समाज और घर वालों की मदद करना चाहते हैं |
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