हो रहे थे लाखो अत्याचार
और बुरे विचार
ऐसा न था के कोई तारा
जो बचा सके भारत देश हमारा
सुनली बात ईश्वर का मन
२ अक्तूबर को हुआ बापू का जन्म
जिन्होंने देखी अत्याचार सारी
उन्होंने सोचा दूर करूगा ये बिमारी
उनके थे चार बंदर
जो भा गया सबके मनके अंदर
तुमको याद कर रही है लोग सारा
कहाँ है हमारे प्यारे बापू
देवराज कुमार
कक्षा -५
अपनाघर ,कानपुर
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