रविवार, 29 अप्रैल 2018

कविता : गर्मी का दिन

" गर्मी का दिन " 

गर्मी का दिन है आया,
पसीना ने हमको भिगाया | 
रात को मच्छर करते परेशान, 
सुबह किरण पर देता हूँ ध्यान | 
जीवन भर करता  रहूंगा प्रणाम, 
माँ -बाप का प्यार है सबसे महान | 
जीवन भर वो काम आए ,
गर्मी भी उससे दूर भाग जाए | 
सपनों में दुनियाँ ऐसे बसाए,
जीवन भर हम साथ निभाए | 

नाम : ओमप्रकाश , कक्षा : 7th ,अपना घर 

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